(Holi) होली पर निबंध Best Ways 2022

प्रस्तावना-

Holi रंगो का त्यौहार है, सदियों से ही भारत एक त्योहारों का देश माना जाता है जहाँ पर हर वर्ष अनेको त्यौहार मनाये जाते है और हर त्यौहार के पीछे कोई न कोई इतिहास छुपा होता है। ठीक उसी प्रकार होली के पीछे भी एक कारण है। मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है। वह हमेशा त्योहारों का प्रेमी रहा है। हमारे देश में समय – समय पर किसी न किसी त्योहारो का आयोजन होता रहता है जैसे रक्षाबंधन, दीपावली, दसहरा एवं होली आदि है जिनसे आपस में मित्रता का भाव भी उतपन्न होता है।

होली रंगो का त्यौहार है जो हिन्दुओ के सबसे बड़े त्योहारों में से एक है। होली का त्यौहार प्रत्येक वर्ष मार्च के महीना में मनाया जाता है। होली के दिन लोग अपने – अपने घरो में अलग – अलग तरह के पकवान बनाते है। प्यार भरे रंगो से सजा यह पर्व भाई – चारे का सन्देश देता है। इस दिन सरे लोग पुराने गीले सिकवे को भूल कर रंग और गुलाल लगते है।

(Holi) होली पर निबंध Best Ways 2022

मानाने का समय-

होली का त्यौहार वसंत ऋतू का त्यौहार भी माना जाता है। यह त्यौहार फाल्गुन महीने की पूर्णिमा तिथि को मनाया जाता है, परन्तु इसका प्रारम्भ माघ पूर्णिमा से हो जाता है। जिसकी अवधि एक माह की होती है। सम्पूर्ण माह में होली के गीतों का आयोजन होता रहता है। इस त्यौहार के समय न तो अधिक गर्मी पड़ती है और न अधिक सर्दी।

यह त्यौहार प्रमुख रूप से दो दिनों का होता है जिसमे पहले दिन होलिका दहन किया जाता है। जिसमे पहले दिन होलिका दहन किया जाता है, जिसमे लड़कियाँ गोवर के कंडे बनती है और उनसे होलिका दहन किया जाता है। होली के दूसरे दिन को धुलंडी कहा जाता है। जिसमे सभी लोग एक दूसरे को रंग – बिरंगे रंग लगते है।

और पढ़ें : दुर्गा पूजा पर निबंध

मानाने के कारण 

इस उत्सव को मानाने के सम्बन्ध में अनेक कथाएँ भी प्रचलित है। उन सभी कथाओ में यह कथा अधिक प्रसिद्ध है की होलिका अपने भाई हिरण्यकश्यप की आज्ञा मानकर प्रह्लाद को गोदी में बैठाकर अग्नि में प्रवेश कर गयी, किन्तु हरी भगत प्रहलाद सकुशल निकल आया और होलिका वही जलकर भस्म हो गयी। उसकी स्मृति में प्रतिवर्ष यह त्यौहार मनाया जाता है। कुछ लोग इस प्रकार बताते है की प्राचीन काल में यह त्यौहार सामूहिक यज्ञ के रूप में मनाया जाता था। जिसमे अन्नो की आहुति देकर देवताओ को खुश किया जाता था। आज भी होली में गेहूं की बालियाँ भुनी जाती है और उनके दानो को प्रसाद के रूप में परिवार में वितरण किया जाता है।

(Holi) होली पर निबंध Best Ways 2022

होली(Holi) का वर्णन-

इस त्यौहार के आगमन के पूर्व ही व्यक्ति रंग और गुलाल लगाना प्रारम्भ कर देते है। प्रत्येक घर में नाना प्रकार के पकवान एवं मिठाइयाँ बनाई जाती है। सभी व्यक्ति बड़े सुन्दर ढंग के मित्र- भाव उत्पन्न करके होली के मधुर गीत गाते है और आपस में रंग और गुलाल का लगते है। रंग – क्रीड़ा के बाद सभी व्यक्ति स्वच्छ वस्त्र धारण करते है और सभी व्यक्ति सम्पूर्ण वर्ष के आपसी भेद – भावो को भूलकर प्रेमपूर्वक एक दूसरे से गले मिलते है।

होली(Holi) त्यौहार का महत्व

इन दिन हम सब बीती हुए बातो को भूलकर हम सब एक दूसरे को लाल गुलाल लगते है और एक दूसरे को गले मिलते है। छोटे बड़े की पैरो पर अबीर रख के अपने से बड़ो का आशीर्वाद लेते है। सामाजिक रूप में बताऊ तो यह होली समाज हुई घटना को मिलाने के लिए होती है।

होली(Holi) के दिन ध्यान रखने योग्य बातें-

  • होली में केमिकल व कांच वाले रंगों एवं अबीर का प्रयोग न करें। इस से त्वचा को बुरी तरह नुक्सान पहुँचता है। साथ ही बहुत से लोगों को एलर्जी की समस्या भी उत्पन्नं हो जाती है।
  • Holi खेलने के लिए गंदे पानी का प्रयोग न करें।
  • होली खेलते समय आप अपनी आँखों का बचाव हेतु ख्याल रखें। या तो इसके लिए होली खेलते समय चश्मे का प्रयोग कर ले।
  • रोड पर किसी वाहन चलाते व्यक्ति पर पानी से भरे गुब्बारे का प्रहार न करे। इस से उस व्यक्ति के दुर्घटनाग्रस्त होने की संभावना काफी बढ़ जाती है। वो व्यक्ति अपने को रंग से बचाने के लिए खुद को खतरे में न दाल ले , इससे उनकी जान भी जा सकती है।
  • होली खेलते समय रंगों व पिचकारी से अपनी आँखों को बचा कर रखें ताकि किसी प्रकार का आपके आँखों का क्षति न पहुंचे।
  • पर्व के दिन नशा युक्त पदार्थ का सेवन न करे।
  • बूढ़े व्यक्तियों पर पानी के गुब्बारे व पिचकारी न मारें उनकी सम्मान करे।
  • बेहतर होगा होली में पानी का कम से कम प्रयोग करें और सूखे व प्राकृतिक रंगों का इस्तेमाल करने की कोसिस करे। इसके लिए आप फूलों आदि का प्रयोग करें।

होली(Holi) के हानिकारक प्रभाव

  • Holi का इन्तजार हमसब को पुरे साल भर रहता है। लेकिन कई बार अक्सर होली पर बहुत सी दुर्घटनाएं भी हो जाती है। लोगों द्वारा होली के दिन गुलाल का प्रयोग न कर के केमिकल और कांच से मिले रंगों का उपयोग किया करते है। जिससे चेहरा ख़राब हो जाता है।
  • कई लोग नशा युक्त पदार्थ मादक जैसे भांग का नशा करते है जिसेस वो सामाजिक और स्वस्थिक रूप से समाज में बोज बन जाते है।
  • होली में बच्चे लोग गुब्बारे में रंग भर कर सड़क पर चलती गाड़ी एवं सड़क पर चल रहे व्यक्ति पर न फेक, क्योकि इससे उस व्यक्ति पर एवं खुद पर दुर्गटना का प्रकोप बढ़ जाता है।

(Holi) होली पर निबंध Best Ways 2022

राज्यों में होली(Holi) के प्रकार

और जाने: होली पर निबंध

बंगाल में होलीबंगाल में होली को डोल पूर्णिमा के रूप में जाना जाता है। बंगाल में इस दिन पर कृष्ण भगवान और राधा की मूर्ति को डोली में रख के पूजा करते है एवं  पुरे शहर में घुमाते हैं और इसमें नाच गाने के साथ रंगों के साथ भी खेला करते है।
उड़ीशा में होली

बंगाल के अलावा उड़ीसा के लोग भी होली को डोल पूर्णिमा के नाम से जानते हैं। होली के उपलक्ष में उड़ीशा में भगवान जगन्नाथ की मूर्ति को डोली में रख के पुरे शहर में घुमाते हैं। इस झांकी में सभी लोग शामिल होते हैं। और रंगों के साथ धूम-धाम से नाच गाने के साथ डोली को शहर में घुमाते हैं।

कर्नाटक की होली

कर्नाटक में होली को कामना हब्बा के रूप में मनाया जाता है। इस दिन महादेव भगवान ने कामदेव को अपने तीसरे नेत्र से भस्म कर दिया था। इस दिन राज्य के सभी लोग अपने पुराने कपड़ों को और कूड़े कचरे को एक जगह पर इकठ्ठा करते हैं। और फिर उसमे आग लगा देते हैं।

होली(Holi) के दिन बनने वाले पकवान

भारत देश में हर त्यौहार में कुछ प्रमुख पकवान बनाये जाते हैं ऐसे ही होली पर भी अलग- अलग राज्यों में सभी लोग अलग-अलग प्रकार के पकवान जैसे – घेवर, गुजिया, मावा पेड़े, मिठाई आदि पकवान बनाये जाते है। सभी बच्चों को को होली का बेसबरी से इन्तजार रहता है। होली के उपलक्ष में बनाये जाने वाले पकवानों की तैयारी लोग पहले कुछ दिनों से करना शुरू कर देते हैं। होली के दिन सभी लोग बनाये गए मिठाइयों को ले कर अपने रिश्तेदारों के घर जाते हैं।

 

1 thought on “(Holi) होली पर निबंध Best Ways 2022”

Leave a Comment